Ranchi: सिरमटोली सरना पूजा स्थल के पास फ्लाइओवर रैंप के निर्माण के विरोध में सोमवार को केंद्रीय सरना समिति ने रांची में विशाल शव यात्रा निकाली। इस विरोध प्रदर्शन में सीएम हेमंत सोरेन समेत झारखंड के सभी 29 आदिवासी विधायकों के अलावा रांची विधायक सीपी सिंह और रांची सांसद सह रक्षा राज्य मंत्री संजय सेठ की प्रतीकात्मक शव यात्रा निकाली गई। इस दौरान हजारों की संख्या में सरना समाज की महिलाएं एवं पुरुष सड़क पर उतरे और फ्लाइओवर रैंप के विरोध में नारेबाजी करते हुए सरकार के खिलाफ अपना विरोध दर्ज कराया।
आदिवासी समाज के धार्मिक स्थल की अनदेखी कर रही सरकार
केंद्रीय सरना समिति का आरोप है कि राज्य सरकार उनके धार्मिक स्थल की अनदेखी कर फ्लाइओवर रैंप का निर्माण कर रही है। बता दें कि संगठन के सदस्यों ने पहले भी रांची की सड़कों पर मानव श्रृंखला बना कर विरोध किया था। इस मुद्दे पर सीएम हेमंत सोरेन और मंत्री चमरा लिंडा से बातचीत भी हुई, पर केवल आश्वासन ही दिया गया। प्रदर्शनकारियों ने यह भी आरोप लगाया कि मंत्री चमरा लिंडा सिर्फ वादे कर रहे हैं, लेकिन धरातल पर कुछ भी बदलता नजर नहीं आ रहा है। उनका कहना था कि हमलोगों ने राज्य में आदिवासियों की सरकार बनाई, पर ये सरकार अपने ही लोगों की आवाज को नजरअंदाज कर रही है।
21 मार्च को एक विशाल जुलूस, 22 को रांची बंद का आह्वान
केंद्रीय सरना समिति ने सरकार को चेतावनी दी है कि अगर उनकी मांगों को जल्द नहीं माना गया, तो 21 मार्च को एक विशाल जुलूस निकाला जाएगा। वहीं, 22 मार्च को रांची बंद कराया जाएगा। उनका कहना है कि यदि प्रशासन ने इस मुद्दे का हल नहीं निकाला, तो वे आगे भी आंदोलन जारी रखेंगे। गौरतलब है कि रांची में सिरमटोली से लेकर मेकॉन तक फ्लाइओवर का निर्माण का कार्य चल रहा है। सरना समिति की मां है कि फ्लाइओवर के निर्माण में सिरमटोली सरना पूजा स्थल के पास बन रहे रैंप को हटाया जाए, ताकि उनके धार्मिक स्थल का अस्तित्व बना रहे।